यूपी के गन्ना उत्पादक, जाने, किसानों को आज तक किस ने दी कितनी राहत
HTN Live
रिपोर्ट नागेश्वर सिंह✍️
उत्तर प्रदेश।प्रदेश में 34 जिले ऐसे हैं, जो लोकसभा चुनाव में मिठास घोलेंगी या कड़वाहट. इन जिलों में सात चरणों में मतदान होने हैं. गन्ना उत्पादकों के मुद्दों पर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी के बाद बसपा सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट कर भाजपा सरकार पर निशाना साधा है. हालांकि गन्ने के मुद्दे पर पूरे उत्तर प्रदेश के किसान सभी राजनीतिक दलों से नाराज हैं. उत्तर प्रदेश के इन 34 गन्ना उत्पादक जिलों का गन्ने का सिर्फ आर्थिक जुड़ाव नहीं बल्कि भावनात्मक संबंध भी है.प्रियंका और मायावती के सवालों के जवाब में तत्काल यूपी सरकार ने जवाब दिया. यूपी सरकार के गन्ना राज्यमंत्री सुरेश राणा ने बताया कि पिछले साल और वर्तमान समय का 58 हजार करोड़ रुपए का भुगतान किया जा चुका है. जबकि, सपा-बसपा सरकारों ने गन्ना किसानों के लिए अब तक कुछ नहीं किया. आज वे लोग गलत बयानबाजी कर रहे।
पहला चरण- बागपत, बिजनौर, गाजियाबाद, मेरठ, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, शामली
दूसरा चरण- अलीगढ़, बुलंदशहर, जेपी नगर
तीसरा चरण- बरेली, बदायूं, कासगंज, मुरादाबाद, पीलीभीत,रामपुर, सम्भल
चौथा चरण- हरदोई, लखीमपुर, शाहजहांपुर
पांचवा चरण- बहराइच, बाराबंकी, फैजाबाद, गोण्डा, सीतापुर
छठा चरण- आजमगढ़, बलरामपुर, बस्ती, सुल्तानपुर
सातवां चरण- देवरिया, कुशीनगर, महाराजगंज, मऊ, गोरखपुर
20 साल में सभी सरकारों ने 2-2 बार बढ़ाया समर्थन मूल्य
भाजपा ने वर्ष 2000 से 2002 के बीच दो बार गन्ने का समर्थन मूल्य 5-5 रुपए बढ़ाया था. सपा सरकार ने 2004 से 2007 के बीच 13 से 10 रुपए तक का इजाफा किया. वहीं, बसपा ने 2008 से 2011 के बीच इसमें 10 से 35 रुपए तक की बढ़ोतरी की. सपा सरकार दोबारा जब 2012 में आई तो उसने गन्ना समर्थन मूल्य में 40 रुपए की बढ़ोतरी की. 2017 में चुनाव से ठीक पहले सपा सरकार ने 25 रुपए दोबार बढ़ाए. इसके बाद आई योगी सरकार ने 10 रुपए का इजाफा किया. हालांकि, हर साल बढ़ती महंगाई के चलते किसानों को बढ़ी हुई दर खाद, बीज, सिंचाई और लेबर चार्ज आदि के हिसाब से कम ही रहती है.
साल दर साल गन्ना रेट
वर्ष सरकार रेट रुपये में
1999-2000 भाजपा 85-90
2000-01 भाजपा 90-95
2001-02 भाजपा 95-100
2002-03 बसपा 95-100
2003-04 बसपा 95-100
2004-05 सपा 107-112
2005-06 सपा 115-120
2006-07 सपा 125-130
2007-08 बसपा 125-130
2008-09 बसपा 140-145
2009-10 बसपा 165-170
2010-11 बसपा 205-210
2011-12 बसपा 240-250
2012-13 सपा 280-290
2013-14 सपा 280-290
2014-15 सपा 280-290
2015-16 सपा 280-290
2016-17 सपा 305-315
2017-18 भाजपा 315-325
जानिए उत्तर प्रदेश के गन्ना उत्पादन के बारे में
35 लाख गन्ना किसान है यूपी में
119 चीनी मिल हैं उत्तर प्रदेश में
देश के 50% गन्ने का उत्पादन यूपी में होता है
बता दें कि 1850 लाख टन गन्ने का हर साल उत्पादन होता है यूपी से
रिपोर्ट नागेश्वर सिंह✍️
उत्तर प्रदेश।प्रदेश में 34 जिले ऐसे हैं, जो लोकसभा चुनाव में मिठास घोलेंगी या कड़वाहट. इन जिलों में सात चरणों में मतदान होने हैं. गन्ना उत्पादकों के मुद्दों पर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी के बाद बसपा सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट कर भाजपा सरकार पर निशाना साधा है. हालांकि गन्ने के मुद्दे पर पूरे उत्तर प्रदेश के किसान सभी राजनीतिक दलों से नाराज हैं. उत्तर प्रदेश के इन 34 गन्ना उत्पादक जिलों का गन्ने का सिर्फ आर्थिक जुड़ाव नहीं बल्कि भावनात्मक संबंध भी है.प्रियंका और मायावती के सवालों के जवाब में तत्काल यूपी सरकार ने जवाब दिया. यूपी सरकार के गन्ना राज्यमंत्री सुरेश राणा ने बताया कि पिछले साल और वर्तमान समय का 58 हजार करोड़ रुपए का भुगतान किया जा चुका है. जबकि, सपा-बसपा सरकारों ने गन्ना किसानों के लिए अब तक कुछ नहीं किया. आज वे लोग गलत बयानबाजी कर रहे।
पहला चरण- बागपत, बिजनौर, गाजियाबाद, मेरठ, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, शामली
दूसरा चरण- अलीगढ़, बुलंदशहर, जेपी नगर
तीसरा चरण- बरेली, बदायूं, कासगंज, मुरादाबाद, पीलीभीत,रामपुर, सम्भल
चौथा चरण- हरदोई, लखीमपुर, शाहजहांपुर
पांचवा चरण- बहराइच, बाराबंकी, फैजाबाद, गोण्डा, सीतापुर
छठा चरण- आजमगढ़, बलरामपुर, बस्ती, सुल्तानपुर
सातवां चरण- देवरिया, कुशीनगर, महाराजगंज, मऊ, गोरखपुर
20 साल में सभी सरकारों ने 2-2 बार बढ़ाया समर्थन मूल्य
भाजपा ने वर्ष 2000 से 2002 के बीच दो बार गन्ने का समर्थन मूल्य 5-5 रुपए बढ़ाया था. सपा सरकार ने 2004 से 2007 के बीच 13 से 10 रुपए तक का इजाफा किया. वहीं, बसपा ने 2008 से 2011 के बीच इसमें 10 से 35 रुपए तक की बढ़ोतरी की. सपा सरकार दोबारा जब 2012 में आई तो उसने गन्ना समर्थन मूल्य में 40 रुपए की बढ़ोतरी की. 2017 में चुनाव से ठीक पहले सपा सरकार ने 25 रुपए दोबार बढ़ाए. इसके बाद आई योगी सरकार ने 10 रुपए का इजाफा किया. हालांकि, हर साल बढ़ती महंगाई के चलते किसानों को बढ़ी हुई दर खाद, बीज, सिंचाई और लेबर चार्ज आदि के हिसाब से कम ही रहती है.
साल दर साल गन्ना रेट
वर्ष सरकार रेट रुपये में
1999-2000 भाजपा 85-90
2000-01 भाजपा 90-95
2001-02 भाजपा 95-100
2002-03 बसपा 95-100
2003-04 बसपा 95-100
2004-05 सपा 107-112
2005-06 सपा 115-120
2006-07 सपा 125-130
2007-08 बसपा 125-130
2008-09 बसपा 140-145
2009-10 बसपा 165-170
2010-11 बसपा 205-210
2011-12 बसपा 240-250
2012-13 सपा 280-290
2013-14 सपा 280-290
2014-15 सपा 280-290
2015-16 सपा 280-290
2016-17 सपा 305-315
2017-18 भाजपा 315-325
जानिए उत्तर प्रदेश के गन्ना उत्पादन के बारे में
35 लाख गन्ना किसान है यूपी में
119 चीनी मिल हैं उत्तर प्रदेश में
देश के 50% गन्ने का उत्पादन यूपी में होता है
बता दें कि 1850 लाख टन गन्ने का हर साल उत्पादन होता है यूपी से
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