Breaking News

अवैध पार्किंग को नगर निगम कर रहा नजर अंदाज: स्थानीय नागरिक चिडिय़ाघर के पास अवैध पार्किंग से आवागमन में हो रही बाधा

HTN Live


लखनऊ। नगर निगम के नाम पर अवैध पार्किंग का मामला कोई नया नहीं है। भीड़-भाड़ वाले इलाकों में ऐसे लोग नगर निगम की मिली भगत से अवैध पार्किंग चलाकर अपनी जेबे भर रहे हैं। ऐसे ही मामले की शिकायत चिडिय़ाघर के आसपास रहने वाले लोगों ने की। बावजूद इसके राजधानी शहर में नगर निगम के नाम पर चलाये जा रहे अवैध पार्किंगों पर न ही पुलिस और न ही यातायात विभाग  कोई कार्रवाई करने को तैयार है। यही वजह है कि हर रोज यातायात व्यवस्था की हालत बिगड़ती जा रही है। इसके चलते इलाके के लोगों के अलावा राह से गुजरने वाले लोगों को भारी समस्याओं को सामना करना पड़ रहा है। रविवार को चिडिय़ाघर आने वालों की भीड़ अक्सर ज्यादा हो जाती है। जैसा इस बार भी हुआ। इसके चलते यहां के स्थानीय लोगों को अपने वाहन के लिए भी जगह नहीं मिलती। चिडिय़ाघर के बाहर आस-पास रहने वाले लोगों ने बताया कि अवैध पार्किंग चलाने वाले लोग अक्सर मारपीट पर भी आमादा हो जाते हैं।  इसके चलते रविवार को यहां हालात बिगडऩे से बचे। लोगों का कहना है कि स्थानीय पुलिस और नगर निगम  पार्किंग की  जानकारी ने होने की बात कर कन्नी काटता है। वहीं कोई कार्रवाई भी नहीं की जाती। इससे साफ जाहिर होता है कि नगर निगम और पार्किंग चलाने वालों के बीच आपसी तालमेल है। इससे दोनों लोग अपना लाभ उठाते हैं।    
हैरत की बात है कि यह जगह राजधानी है और राजधानी का वीआईपी इलाका जैसा है। विस्तार पूर्वक बताते चले कि हजरतगंज स्थित नरही के साकेत पल्ली स्थित चिडिय़ाघर के गेट नंबर एक के पास पिछले कई महीनों से अवैध पार्किंग चलाई जा रही है। यहीं नहीं नरही क्षेत्र में रहने वाले लोग जब इसका विरोध करते है तो पार्किंग लगाने वाला व्यक्ति नगर निगम का पार्किंग बता कर दबंगई पर आमादा हो जाते हैं। लोगों ने यह भी आरोप लगाया कि चिडिय़ाघर घुमने आने वाले लोगो से उनकी गाडिय़ों का शुल्क वसूलते हैं। 
नरही इलाके में रहने वाले लोगों ने बताया कि अवैध पार्किंग की जानकारी नगर निगम व यातायात प्रशासन के आलाधिकारियों को दी गयी बावजूद इसके कोई कार्रवाई नहीं की गयी है। इलाके के लोगों का यह भी आरोप है कि पार्किंग चलाने वाले क्षेत्रीय पुलिस के संरक्षण में अवैध वसूली का काम कर रहे हैं। इससे आम जनता ठगी को शिकार हो रही है। वहीं इलाके के लोग इस अवैध पार्किंग के चलते राह से निकलने में दिक्क्त का सामना कर रहे हैं। 
बाक्स 
नगर निगम की वेबससाइट मेंं वर्ष 2015-16 के लिए जोन-1 के चिडिय़ाघर के पास पार्किंग का ब्योरा दर्ज है। मगर वेबसाइट में पार्किंग को अपडेट नहीं किया गया है। हैरत की बात है कि नगर निगम ने 2015-16 के बाद पार्किंग स्थलों का विवरण नहीं दिया है। जबकि बीते वर्षों के अनुसार चिडिय़ाघर के बाहर नगर निगम की पार्किंग दजै है। यहां की विभागीय वसूली की जाती थी। वेबसाइट में जो पार्किंग की सूची दी गयी है इसमें दर्ज मोबाइल नम्बर पर जब बात की गयी तो पता चला कि यह नम्बर नगर निगम कर्मी का तो है मगर पार्किंग से उसका कोई लेना देना नहीें है। फोन उठाने वाले ने अपना नाम अखिलेश बताया और यह भी बताया कि 9452714604 नम्बर भी उसी का है।

No comments